सामूहिक धन्यवाद ज्ञापन
आप सभी मित्रों, शुभचिंतकों को मेरे जन्मदिन पर , समय निकालकर अपने जो शुभकामनाएं दी, उनके लिए ह्रदय से धन्यवाद। आज कुछ बड़ी अनोखी बातें शेयर कर रहा हूँ, एक आध साल अपवाद को छोड़ दे तो कभी मैंने न तो बर्थडे केक काटा और न इसको कभी स्पेशल तरीके से ट्रीट किया। दरअसल मुझे बड़ी अजीब सी शर्म सी आती है, खासकर जब वो केक काटते समय गाने गाते है। दरअसल मुझे वो पूरा तामझाम ही बड़ा अजीब लगता है।
मैं अपने आसपास देखता हूँ तो बड़े अच्छे अच्छे लोग दिखते है , बहुत बढ़िया से अपना बर्थडे सलेब्रिट करते है। एक मित्र बर्बे कयु नेशन में जाकर पार्टी देते है, कुछ ऐसे भी लोग है जो पहले से बताएंगे कि अमुक दिन मेरा बर्थडे है और मुझे गिफ्ट क्या दोगे, इससे बढ़कर वो जो बोलकर मांगते है कि मुझे बर्थडे में अमुक चीज दे दो .उदाहरण के लिए वो I PHONE के कटे वाले हैडफोन ।
जब भी मैं अपने स्वभाव के विश्लेषण करता हूँ तो इन चीजों के उत्तर मिलते है। मैं समूह, भीड़ से अक्सर असहज रहता हूँ। मेरे एक एक कर या व्यक्तिगत संबंध हमेशा बहुत प्रगाढ़, मजबूत व आत्मीय बनजाते है पर समूह शायद ही कभी मेरे व्यवहार को स्वीकार करे ।
हर साल मुझे दो लोगों से एक विशेष तरह की शिकायत मिलती है, कि मैंने उन्हें बर्थडे विश क्यों न किया जबकि वो हर बार ध्यान से मुझे करते है। दोनों ही लोगों का बर्थडे ठीक एक दिन पहले यानी 15 अगस्त को होता है। इसबार एक लोगों का याद करके बैठा और उन्हें विश कर भी दिया पर कल शाम मुझे दूसरी शिकायत मिली। अब मुझसे कुछ कहते न बना। ये ऐसे लोग है जो पूरे साल गायब से रहते है प्रायः नाराज कि मैं बहुत बिजी रहता हूं पर बर्थडे पर विश जरूर करेंगे। उम्मीद करता हूँ कि पोस्ट लिखने से शायद मुझे अगले साल 15 अगस्त को याद रहे, कोई शिकायत न रहें।
तो दिन भले मेरा सामान्य सा गुजरे पर फेसबुक पर जब तक आप जैसे लोगों है तबतक हमारे जीवन में 16 अगस्त विशिष्ट या कहे जलवा कायम रहेगा। पुनश्च आपको बहुत बहुत शुक्रिया, आभार, अभिनंदन।
आपका - आशीष कुमार, उन्नाव ( उत्तर प्रदेश)