एक निबंध की रूप रेखा -
कभी कभी बहुत अच्छी चीजे पढ़ने को मिल जाती है जिनको पढ़कर मन ,बहुत दूर तक सोचने लगता है. मैंने हाल में कुछ बहुत ही अच्छी बात पढ़ी।
" सारा विश्व पानी की प्रॉब्लम से जूझ रहा है और हमे पता है कि सिंचाई में पानी की जरूरत बहुत ज्यादा होती है। भारत में कुछ क्रॉप्स , बहुत ज्यादा पानी खपत करती है। जैसे धान , गन्ना। हम इनके जुड़े उत्पाद बाहर भी भेजते है। चीन अपने यहां पर ऐसी फसलों को ज्यादा महत्व दे रहा है जो पानी की सिमित खपत करती है। ज्यादा पानी वाली फसले , वह बाहर से आयात कर लेता है।
ऐसे में भारत को भी दूर की सोचते हुये , अपने पानी के सिमित भंडार को सुरक्षित रखने के लिए विचार करना चाहिए. पिछले २ सालो से भारत में सूखा पड़ रहा है। जिसके चलते भारत के बड़ा हिस्सा , सूखे से जूझ रहा है। अगर बात महाराष्ट्र की करें तो एक और लातूर में रेल से पानी भेजना पड़ता है तो दूसरी तरह वह गन्ने का बड़ा उत्पादक है। इस राज्य में पानी की कमी नहीं है कमी है उचित प्रबंधन की।
आने वाले समय में ऐसा कहा जा रहा है की पानी के लिए विश्व युद्ध हो सकता है। भारत की अवस्थिति बहुत अच्छी है। इसके चलते भारत में वर्षा काफी मात्रा में होती है। वर्षा के जल को संरक्षित किया जाना चाहिए।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें